Shiv Aarti : Om Jai Shiv Omkara| शिवजी की आरती : ॐ जय शिव ओंकारा


आरती देवता की स्तुति में गाए जाने वाले भक्ति गीत हैं। भगवान शिव को समर्पित एक लोकप्रिय आरती “ओम जय शिव ओमकारा” है। विभिन्न त्योहारों और महा शिवरात्रि जैसे विशेष अवसरों के दौरान गाया जाने वाला यह गीत हिंदी, संस्कृत, हिंग्लिश और अंग्रेजी सहित कई भाषाओं में उपलब्ध है।

ओम जय शिव ओंकारा की आरती लिखी हुई | शिव आरती की लिरिक्स

शंकर जी की आरती हिंदी में जो लिखी गयी हैं उस श्लोक के शुरू के 2 लाइन का अर्थ :

“ओम जय शिव ओमकारा, स्वामी जय शिव ओमकारा।” ब्रह्मा, विष्णु, सदाशिव, अर्धाग्नि धारा…”, का अनुवाद “भगवान शिव की स्तुति, हर चीज के भगवान, निर्माता, संरक्षक और संहारक, जो द्वैत से परे हैं।”

चलिए अब जानते हैं शिवजी की आरती हिंदी में | शिवजी की आरती लिखी हुई | जय शिव ओंकारा आरती हिंदी में। आप सभी हमारे साथ शिवजी की आरती गा के भगवान् शिव जी की आशिर्बाद लीजिये ।

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा । ब्रह्मा विष्णु सदा शिव अर्द्धांगी धारा ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

एकानन चतुरानन पंचानन राजे । हंसानन गरुड़ासन वृषवाहन साजे ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

दो भुज चार चतुर्भुज दस भुज अति सोहे। त्रिगुण रूपनिरखता त्रिभुवन जन मोहे ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

अक्षमाला बनमाला रुण्डमाला धारी । त्रिपुरारी कंसारी कर माला धारी॥
ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

श्वेताम्बर पीताम्बर बाघम्बर अंगे । सनकादिक गरुणादिक भूतादिक संगे ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

कर के मध्य कमंडलु चक्र त्रिशूल धर्ता । जगकर्ता जगभर्ता जगसंहारकर्ता ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

ब्रह्मा विष्णु सदाशिव जानत अविवेका । प्रणवाक्षर मध्ये ये तीनों एका ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

लक्ष्मी व सावित्री पार्वती संगा । पार्वती अर्द्धांगी, शिवलहरी गंगा ॥

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

पर्वत सोहैं पार्वती, शंकर कैलासा । भांग धतूर का भोजन, भस्मी में वासा ॥

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

जटा में गंग बहत है, गल मुण्डन माला । शेष नाग लिपटावत, ओढ़त मृगछाला ॥

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

काशी में विश्वनाथ विराजत नन्दी ब्रह्मचारी । नित उठि भोग लगावत महिमा अति भारी ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

त्रिगुण शिवजीकी आरती जो कोई नर गावे । कहत शिवानन्द स्वामी मनवांछित फल पावे ॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥

जय शिव ओंकारा हर ॐ शिव ओंकारा। ब्रह्मा विष्णु सदाशिव अद्धांगी धारा॥ 

ॐ जय शिव ओंकारा ॐ जय शिव ओंकारा ॥


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शिव आरती हिंदी में :ओम जय शिव ओंकारा आरती का महत्व

भगवान शिव को समर्पित आरती भक्ति के औपचारिक गीत हैं। एक विशेष लयबद्ध पैटर्न के साथ प्रस्तुत की जाने वाली आरती, जैसे हिंदी में ‘जय शिव ओमकारा’ या संस्कृत में ‘शिव आरती’ में संगीत और आध्यात्मिकता का एक समृद्ध मिश्रण होता है, जो अक्सर पारंपरिक वाद्ययंत्रों के साथ होता है। गीत स्पष्ट रूप से शिव की स्तुति करते हैं, उनके आशीर्वाद का आह्वान करते हैं। उदाहरण के लिए, संस्कृत आरती, “कर्पूर गौरम करुणावतारम्”, मंदिरों में एक आम प्रस्तुति है।

आरती करने में देवता के सामने गोलाकार गति में एक जलता हुआ दीपक घुमाना शामिल है, जो अंधेरे और अज्ञानता के फैलाव का प्रतीक है। चाहे हिंदी, संस्कृत, हिंग्लिश या अंग्रेजी में गाया या गाया जाए, इन आरतियों का सार उनके भक्तिपूर्ण उत्साह में निहित है, जो भगवान शिव के साथ भावनात्मक और आध्यात्मिक जुड़ाव के लिए एक माध्यम के रूप में कार्य करता है।

ओम जय शिव ओंकारा का अर्थ

“ओम जय शिव ओंकारा” शिव आरती का आरंभिक वाक्य है, जिसका अर्थ है “हे शिव, ओंकार रूप में आपकी जय हो।”

यह आरती भगवान शिव की महिमा का गुणगान करती है। इसमें शिवजी को “ओंकार” रूप में संबोधित किया गया है, जो सृष्टि का आदि स्वरूप है। “ओंकार” को परमात्मा का प्रतीक माना गया है, जो सृजन, पालन और संहार तीनों का प्रतिनिधित्व करता है। इस आरती के माध्यम से भक्त भगवान शिव की अनंत शक्तियों और करुणा का स्मरण कर उनकी कृपा प्राप्त करने की प्रार्थना करते हैं।

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संछेप में

इन अनुष्ठानों को दैनिक पूजा में शामिल करने से इंसान के मानसिक और आध्यात्मिक कल्याण पर गहरा प्रभाव पड़ता है। अभ्यास से सचेतनता बढ़ती है, तनाव कम होता है, और आत्म-निरीक्षण और दिव्य सहभागिता के लिए एक पवित्र स्थान बनता है। मंत्रों के निरंतर पाठ और आरती के माध्यम से, भक्तों को भगवान शिव के साथ गहरा संबंध का अनुभव होता है, जिससे उनकी शिवजी से आध्यात्मिक लगाव बढ़ती है।

Shiv Aarti

Shiv Aarti in English | Om Jai Shiv Omkara

Aartis are devotional songs sung in praise of the deity. One popular aarti dedicated to Lord Shiva is “Om Jai Shiv Omkara”. Sung during various festivals and special occasions like Maha Shivaratri, it is available in multiple languages including Hindi, Sanskrit, Hinglish, and English.

For instance, the initial Hindi verse “Om Jai Shiv Omkara, Swami Jai Shiv Omkara. Brahma, Vishnu, Sadashiv, Arddhagni Dhara…”, translates to “Praise to Lord Shiva, the Lord of everything, Creator, Preserver, and Destroyer, who transcends duality.”

Aartis dedicated to Lord Shiva are ceremonial songs of devotion. Performed with a particular rhythmic pattern, aartis like ‘Jai Shiv Omkara’ in Hindi or ‘Shiv Aarti’ in Sanskrit encompass a rich blend of melody and spirituality, often accompanied by traditional instruments. The lyrics eloquently praise Shiva, invoking his blessings. For instance, the Sanskrit aarti, “Karpoor Gauram Karunaavataram,” is a common rendition in temples.


Performing aarti involves waving a lighted lamp in a circular motion before the deity, symbolizing the dispersal of darkness and ignorance. Whether chanted or sung in Hindi, Sanskrit, Hinglish, or English, the essence of these aartis lies in their devotional fervor, serving as a conduit for emotional and spiritual connectivity with Lord Shiva.

Shiv Ji Ki Aarti Lyrics

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara. Brahma Vishnu Sada Shiv Arddhaangee Dhaara.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Ekaanan Chaturaanan Panchaanan Raaje. Hansaanan Garudaasan Vrshavaahan Saaje.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Do Bhuj Chaar Chaturbhuj Das Bhuj Ati Sohe. Trigun Roopanirakhata Tribhuvan Jan Mohe.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Akshamaala Banamaala Rundamaala Dhaaree. Tripuraaree Kansaaree Kar Maala Dhaaree.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Shvetaambar Peetaambar Baaghambar Ange. Sanakaadik Garunaadik Bhootaadik Sange.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Kar Ke Madhy Kamandalu Chakr Trishool Dharta. Jagakarta Jagabharta Jagasanhaarakarta.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Brahma Vishnu Sadaashiv Jaanat Aviveka. Pranavaakshar Madhye Ye Teenon Eka.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Lakshmee Va Saavitree Paarvatee Sanga. Paarvatee Arddhaangee, Shivalaharee Ganga.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Parvat Sohain Paarvatee, Shankar Kailaasa. Bhaang Dhatoor Ka Bhojan, Bhasmee Mein Vaasa.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Jata Mein Gang Bahat Hai, Gal Mundan Maala. Shesh Naag Lipataavat, Odhata Mrgachhaala.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Kaashee Mein Vishvanaath Viraajat Nandee Brahmachaaree. Nit Uthi Bhog Lagaavat Mahima Ati Bhaaree.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Trigun Shivajeekee Aaratee Jo Koee Nar Gaave. Kahat ShivaAnand Svaamee Manavaanchhit Phal Paave.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.

Jay Shiv Omakara Har Om Shiv Omakara. Brahma Vishnu Sadaashiv Addhaangee Dhaara.

Om Jay Shiv Omakara Om Jay Shiv Omakara.


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Meaning of Om Jai Shiv Omkara

“Om Jai Shiv Omkara” is the opening line of the Shiv Aarti, meaning “O Shiva, victory to You in the form of Omkara.”

This Aarti glorifies Lord Shiva, referring to him as “Omkara,” the primal form of creation. “Omkara” symbolizes the supreme consciousness and represents creation, preservation, and destruction. Through this Aarti, devotees remember Shiva’s infinite powers and compassion, seeking his blessings and grace.

Summary

Integrating these rituals into daily worship has a profound impact on one’s mental and spiritual well-being. The practice cultivates mindfulness, reduces stress, and creates a sacred space for self-introspection and divine communion. Through the consistent recitation of mantras and performance of aartis, devotees experience a profound connection with Lord Shiva, enhancing their spiritual journey.

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